Bihar Elections 2025 कलाकारों की राजनीति और जनता की उम्मीदें
Bihar Elections 2025 में मैथिली ठाकुर, पवन सिंह और कंगना रनौत जैसे कलाकार राजनीति में कदम रख रहे हैं। जानें क्या ये हस्तियां जनता की उम्मीदों पर खरे उतर पाएंगी और विकास ला पाएंगी।
राजनीति और कला का संगम
भारत में Indian Politics और कला जगत का मेल हमेशा चर्चा का विषय रहा है। बॉलीवुड, टीवी और संगीत की दुनिया के सितारे अब Bihar Elections 2025 में अपनी राजनीतिक पारी शुरू करने जा रहे हैं। जनता के लिए यह न केवल रोचक है बल्कि कई सवाल भी खड़े करता है।
तमिलनाडु की पूर्व मुख्यमंत्री जयललिता ने यह साबित किया कि कलाकार राजनीति में अपनी पहचान बना सकते हैं। लेकिन क्या हर कलाकार के लिए यह संभव है? बिहार में अब Maithili Thakur, पवन सिंह और खेसारी लाल जैसे नाम राजनीतिक चर्चा में हैं।
जनता अक्सर परदे की चमक-दमक से प्रभावित होकर अपने पसंदीदा कलाकारों को वोट देती है। लेकिन राजनीति केवल लोकप्रियता का खेल नहीं है, यह जनता की सेवा और क्षेत्रीय विकास की जिम्मेदारी मांगती है।
कलाकारों की लोकप्रियता और राजनीति
Bollywood actors in politics और भोजपुरी कलाकारों की लोकप्रियता उन्हें वोट बैंक में शुरुआती फायदा दिला सकती है। लेकिन इतिहास बताता है कि केवल स्टारडम से चुनाव जीतना आसान नहीं है।
अमिताभ बच्चन की राजनीतिक पारी इसका सबसे बड़ा उदाहरण है। उनकी लोकप्रियता के बावजूद राजनीतिक पारी छोटी और असफल रही। बोफोर्स घोटाले के समय उन्होंने इस्तीफा दे दिया और फिर राजनीति से दूरी बना ली।
वहीं उनकी पत्नी जया बच्चन ने लंबी पारी खेली, लेकिन पूरी तरह स्वतंत्र नहीं रह सकीं। इसके अलावा, गोविंदा और हेमामालिनी जैसी हस्तियों की राजनीति भी जनता की उम्मीदों पर खरी नहीं उतरी।
- गोविंदा के क्षेत्र में “गोविंदा गुमशुदा” पोस्टर देखे गए।
- हेमामालिनी के विवादित बयान — “अगर बांके बिहारी कॉरिडोर का विरोध कर रहे हैं तो कहीं और जाकर बस जाइए” — उनकी संवेदनहीनता को दर्शाते हैं।
इससे साफ है कि केवल स्टारडम और लोकप्रियता पर्याप्त नहीं है। राजनीति में जनता की समस्याओं और विकास के लिए निरंतर काम करना जरूरी है।
बिहार में वर्तमान में चर्चित कलाकार
बिहार चुनाव 2025 में कई Bollywood actors in politics चर्चा में हैं।
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Kangana Ranaut: हिमाचल प्रदेश की बाढ़ के दौरान जनता की समस्याओं पर ध्यान देने की बजाय फैशन स्टेटमेंट्स और स्टाइलिश लुक्स में व्यस्त रहीं। उनका यह रवैया जनता में नाराज़गी पैदा कर रहा है।
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Smriti Irani: टीवी की दुनिया से लोकप्रियता हासिल करने के बाद राजनीति में आईं। अमेठी से राहुल गांधी को हराया और मंत्री बनीं। लेकिन लगातार विवादित व्यवहार और क्षेत्र की अनदेखी के कारण जनता ने हाल ही में उन्हें बाहर कर दिया।
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Bhojpuri actors: पवन सिंह और खेसारी लाल यादव बिहार चुनाव में लोकप्रिय हैं। उनकी पहचान और फैन फॉलोइंग वोट बैंक में फायदा पहुंचा सकती है, लेकिन स्थायी बदलाव जनता की उम्मीदों पर निर्भर करेगा।
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Maithili Thakur: संगीत की दुनिया में नाम कमा चुकीं मैथिली अब बिहार चुनावों में राजनीतिक पारी शुरू करना चाहती हैं। उनकी लोकप्रियता उन्हें राजनीतिक मंच पर शुरुआती फायदा दे सकती है।
क्यों वोटर्स अक्सर कलाकारों को चुनते हैं?
जनता अक्सर परदे की चमक-दमक और स्टारडम से प्रभावित होकर वोट करती है। यह समझना जरूरी है कि लोकप्रियता और राजनीति दो अलग-अलग क्षेत्र हैं। कलाकार अपनी फिल्मों, गानों या टीवी शो की वजह से लोकप्रिय हो सकते हैं, लेकिन राजनीतिक पारी में जनता की समस्याओं को समझना और उनका समाधान करना सबसे बड़ा परीक्षण है।
- स्टारडम स्थायी बदलाव नहीं ला सकता।
- नेताओं का काम जनता की भलाई और क्षेत्रीय विकास सुनिश्चित करना है।
- केवल चमक-दमक देखकर वोट देने से भविष्य में नुकसान हो सकता है।
इतिहास से सीख
पिछले उदाहरण हमें सिखाते हैं कि कलाकारों की लोकप्रियता राजनीति में सफलता की गारंटी नहीं है।
- अमिताभ बच्चन: लोकप्रियता के बावजूद राजनीतिक पारी असफल।
- जया बच्चन: लंबी पारी लेकिन पूरी तरह स्वतंत्र नहीं।
- गोविंदा: भारी जीत के बाद जनता की अपेक्षाओं पर खरा नहीं उतरे।
- हेमामालिनी: विवादित बयान और संवेदनहीनता।
यह साबित करता है कि राजनीति केवल लोकप्रियता का खेल नहीं, बल्कि जनता की सेवा और विकास की जिम्मेदारी है।
जनता को सोच-समझकर वोट देना होगा
Bihar Elections 2025 में मतदाताओं को केवल परदे की चमक-दमक पर भरोसा नहीं करना चाहिए। उम्मीदवार की सोच, विज़न और क्षमता को ध्यान में रखते हुए वोट करना बेहद जरूरी है।
Important Tips for Voters:
- उम्मीदवार के manifesto और विकास योजनाओं पर ध्यान दें।
- केवल लोकप्रियता और स्टारडम पर भरोसा न करें।
- क्षेत्रीय मुद्दों और जनता की समस्याओं को समझने वाले नेताओं का चुनाव करें।
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