PM Modi Kuwait visit: भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कुवैत में अपनी ऐतिहासिक यात्रा के दौरान दो दिवसीय यात्रा के दूसरे दिन एक भव्य स्वागत प्राप्त किया। इस यात्रा को लेकर विशेष महत्व है क्योंकि यह भारतीय प्रधानमंत्री का कुवैत का 43 वर्षों बाद पहला दौरा है। भारतीय प्रधानमंत्री ने इस दौरान कुवैत के अमीर, क्राउन प्रिंस और प्रधानमंत्री के साथ कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर वार्ता की, जिससे दोनों देशों के रिश्तों को और मजबूत करने के प्रयास किए गए।
प्रधानमंत्री मोदी का भव्य स्वागत
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का कुवैत पहुंचने पर कुवैत के प्रधानमंत्री शेख अहमद अब्दुल्ला अल-अहमद अल-सबा ने उन्हें बायन पैलेस में औपचारिक स्वागत किया। इस अवसर पर प्रधानमंत्री मोदी को गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया, जो उनकी यात्रा के महत्व को दर्शाता है। यह स्वागत दोनों देशों के बीच ऐतिहासिक संबंधों और कुवैत द्वारा भारत के साथ अपने संबंधों को आगे बढ़ाने की इच्छा को स्पष्ट करता है।
A special welcome on historic visit!
PM @narendramodi arrives at the Bayan Palace in Kuwait to a ceremonial welcome and Guard of Honour. Warmly received by HH Sheikh Ahmed Abdullah Al-Ahmed Al-Sabah, PM of🇰🇼.
Extensive talks with HH the Amir, Crown Prince and PM of Kuwait 🇰🇼… pic.twitter.com/p35gDjVOPq
— Randhir Jaiswal (@MEAIndia) December 22, 2024
मोदी की कुवैत यात्रा के दौरान मंत्रालय ने ट्वीट किया, “ऐतिहासिक यात्रा पर विशेष स्वागत! प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को कुवैत के बायन पैलेस में औपचारिक स्वागत और गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया। उन्हें कुवैत के प्रधानमंत्री शेख अहमद अब्दुल्ला अल-अहमद अल-सबा ने गर्मजोशी से स्वागत किया। इस यात्रा के दौरान अमीर, क्राउन प्रिंस और कुवैत के प्रधानमंत्री के साथ व्यापक बातचीत होगी।”
प्रधानमंत्री मोदी की कुवैत के शीर्ष नेतृत्व से वार्ता
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को कुवैत के अमीर शेख मेशाल अल-अहमद अल-जाबेर अल-सबा से महत्वपूर्ण बातचीत की। इस वार्ता में दोनों देशों के बीच व्यापार, रक्षा और सुरक्षा के क्षेत्र में संबंधों को और मजबूत करने पर चर्चा हुई। कुवैत के साथ भारत के रिश्तों में विकास के कई नए रास्ते खोलने के प्रयास किए गए। कुवैत भारतीय व्यापारियों और निवेशकों के लिए एक महत्वपूर्ण साझीदार है और दोनों देशों के बीच इस दिशा में कई सकारात्मक पहल हो सकती हैं।
प्रधानमंत्री मोदी का कुवैत दौरा इस बात का संकेत भी है कि भारत और कुवैत के रिश्ते केवल व्यापार तक सीमित नहीं हैं, बल्कि सुरक्षा, संस्कृति और लोगों के बीच संबंधों को बढ़ाने के लिए भी कई पहल की जा रही हैं। कुवैत और भारत के बीच द्विपक्षीय व्यापार संबंध पहले से ही मजबूत हैं, और मोदी ने इस यात्रा के दौरान इस दिशा में और प्रगति करने की दिशा में बातचीत की।
कुवैत में भारतीय समुदाय के साथ बातचीत
प्रधानमंत्री मोदी ने कुवैत में भारतीय समुदाय के साथ भी संवाद किया। कुवैत में भारतीय समुदाय दुनिया का सबसे बड़ा प्रवासी समुदाय है, और उनका कुवैत के विकास में महत्वपूर्ण योगदान है। प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय श्रमिकों के साथ बातचीत के दौरान कहा, “जब मैं आपके जैसे श्रमिकों को कड़ी मेहनत करते देखता हूं, तो मुझे लगता है कि अगर आप 10 घंटे काम करते हैं, तो मुझे 11 घंटे काम करना चाहिए।” प्रधानमंत्री का यह बयान उनके राष्ट्र निर्माण के प्रति समर्पण और मेहनत की भावना को दर्शाता है।
उन्होंने भारतीय श्रमिकों के योगदान को सराहा और कहा कि उनका परिश्रम ही भारत की ताकत है। मोदी ने इस दौरान भारतीय श्रमिकों की जिंदगी को बेहतर बनाने के लिए कई योजनाओं का जिक्र किया और उनकी कठिनाइयों को समझने की कोशिश की।
PM Modi Kuwait visit का ऐतिहासिक महत्व
प्रधानमंत्री मोदी का यह कुवैत दौरा ऐतिहासिक महत्व रखता है, क्योंकि यह 43 वर्षों के बाद किसी भारतीय प्रधानमंत्री द्वारा कुवैत का दौरा किया गया है। इससे पहले 1981 में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने कुवैत का दौरा किया था। मोदी का यह दौरा भारत और कुवैत के बीच पुराने और मजबूत रिश्तों को और मजबूत करने का एक महत्वपूर्ण अवसर है। इस यात्रा के दौरान दोनों देशों के बीच व्यापार, निवेश, शिक्षा, और सुरक्षा के कई नए पहलुओं पर चर्चा हुई।
कुवैत के साथ व्यापार और निवेश संबंध
भारत और कुवैत के बीच व्यापारिक रिश्ते पहले से ही मजबूत हैं। 2023-24 वित्तीय वर्ष में द्विपक्षीय व्यापार का मूल्य 10.47 बिलियन डॉलर तक पहुंच चुका है। कुवैत भारत का एक प्रमुख ऊर्जा आपूर्तिकर्ता है, और भारत की ऊर्जा जरूरतों का 3% हिस्सा कुवैत से आता है। इसके अलावा, कुवैत ने भारत में 10 बिलियन डॉलर से अधिक का निवेश किया है। दोनों देशों के बीच व्यापार और निवेश के इन संबंधों को बढ़ाने के लिए प्रधानमंत्री मोदी ने कुवैत के नेताओं से चर्चा की।