Parliament Standing Committee: कंगना राणावत का डेब्यू, राहुल गाँधी को डिफेन्स समिति में जगह

Parliament Standing Committee जिन्हें अक्सर “मिनी संसद” कहा जाता है, का गुरुवार को पुनर्गठन किया गया। ये समिति विभिन्न मंत्रालयों की कार्यप्रणाली की निगरानी में महत्वपूर्ण कदम है।

Parliament Standing Committee
Parliament Standing Committee

Parliament Standing Committee में लोकसभा और राज्यसभा के सदस्य होते हैं, जो सरकार के मुख्य क्षेत्रों पर नजर रखते हैं। इस बार, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने रक्षा समिति में अपना स्थान बरकरार रखा है, जबकि बॉलीवुड अभिनेत्री और बीजेपी की नवनिर्वाचित सांसद कंगना रनौत सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) समिति की सदस्य के रूप में अपना डेब्यू कर रही हैं।

Rahul Gandhi और Defense Committee

लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद Rahul Gandhi, Defense Committee के सदस्य के रूप में बने रहेंगे। Defense Committee रक्षा मंत्रालय की निगरानी करती है और राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़े मामलों में पारदर्शिता सुनिश्चित करती है। इस समिति के अध्यक्ष भाजपा सांसद राधा मोहन सिंह होंगे, जो अनुभवी राजनेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री हैं। गांधी का इस समिति में बने रहना उनके अनुभव को दर्शाता है और यह सुनिश्चित करने के लिए महत्वपूर्ण है कि भारत की रक्षा नीतियों की गहन निगरानी हो।

Parliament Standing Committee
Parliament Standing Committee

Kangana Ranaut आईटी समिति में शामिल

एक अहम बदलाव में, कंगना रनौत, जो भाजपा की पहली बार संसद पहुंचने वाली सदस्य हैं, उन्हें सूचना प्रौद्योगिकी (आईटी) समिति में नियुक्त किया गया है। रनौत, जो अपने बेबाक विचारों और मजबूत मीडिया उपस्थिति के लिए जानी जाती हैं, अब भारत के तेजी से बढ़ते आईटी क्षेत्र, डिजिटल नीतियों और साइबर सुरक्षा से जुड़े अहम मुद्दों में योगदान देंगी। इस समिति की अध्यक्षता भाजपा सांसद निशिकांत दुबे करेंगे, जिनका पिछले लोकसभा कार्यकाल में कांग्रेस नेता शशि थरूर के साथ विवादित संबंध रहा था।

 

आईटी स

Parliament Standing Committee
Parliament Standing Committee

मिति आज के डिजिटल युग में महत्वपूर्ण है, जिसमें डेटा गोपनीयता, साइबर सुरक्षा और सोशल मीडिया प्लेटफार्मों के नियमन जैसे प्रमुख मुद्दे सामने आते हैं। इस समिति में रनौत की भागीदारी इन मुद्दों पर नई दृष्टिकोण ला सकती है, खासकर सोशल मीडिया के क्षेत्र में उनकी सक्रियता के कारण।

कांग्रेस को चार प्रमुख समितियों की जिम्मेदारी

कांग्रेस, जो प्रमुख विपक्षी दल है, को चार संसदीय समितियों की अध्यक्षता दी गई है। इनमें सबसे अहम समिति विदेश मामलों की है, जिसकी अध्यक्षता कांग्रेस नेता शशि थरूर करेंगे। थरूर, जो पूर्व में भारत के विदेश मामलों के मंत्री रहे हैं, अपनी कूटनीतिक विशेषज्ञता और अंतरराष्ट्रीय संबंधों के अनुभव के साथ इस भूमिका में आएंगे। यह समिति भारत की विदेश नीति, कूटनीतिक संबंधों और अंतरराष्ट्रीय व्यापार समझौतों की निगरानी करेगी।

इसके अलावा, कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह शिक्षा, महिला, बाल, युवा और खेल मामलों की समिति की अध्यक्षता करेंगे। यह समिति शिक्षा सुधार और बच्चों और युवाओं की भलाई से संबंधित नीतियों को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी। पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी को कृषि, पशुपालन और खाद्य प्रसंस्करण समिति का अध्यक्ष बनाया गया है। सप्तगिरी संकर उलाका ग्रामीण विकास और पंचायती राज समिति का नेतृत्व करेंगे, जो ग्रामीण शासन और बुनियादी ढांचे में सुधार पर ध्यान केंद्रित करेगी।

भाजपा ने महत्वपूर्ण समितियों पर नियंत्रण बरकरार रखा

भाजपा, जो सत्तारूढ़ पार्टी है, ने सबसे महत्वपूर्ण संसदीय समितियों की अध्यक्षता अपने पास रखी है। वरिष्ठ सांसद भरतृहरि महताब को वित्त समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है, जो सरकार के खर्च, कर नीतियों और आर्थिक सुधारों की निगरानी करती है। यह समिति केंद्रीय बजट की गहन समीक्षा करती है और सरकार को सिफारिशें देती है।

पूर्व केंद्रीय मंत्री राधा मोहन दास अग्रवाल गृह मामलों की समिति का नेतृत्व करेंगे, जो आंतरिक सुरक्षा, कानून व्यवस्था और आपदा प्रबंधन पर नज़र रखेगी। पूर्व मंत्री अनुराग ठाकुर को कोयला और खान समिति का अध्यक्ष बनाया गया है, जबकि राजीव प्रताप रूडी को जल संसाधन समिति की जिम्मेदारी दी गई है।

विपक्ष की प्रमुख समितियों में मौजूदगी

कांग्रेस के अलावा, अन्य विपक्षी दलों ने भी प्रमुख संसदीय समितियों में स्थान हासिल किया है। तृणमूल कांग्रेस सांसद कीर्ति आज़ाद रसायन और उर्वरक समिति की अध्यक्षता करेंगे, जबकि डोला सेन वाणिज्य समिति की अध्यक्षता करेंगी। डीएमके के तिरुचि शिवा और कनिमोझी उद्योग समिति और उपभोक्ता मामले, खाद्य और सार्वजनिक वितरण समिति का नेतृत्व करेंगे।

समाजवादी पार्टी की जया बच्चन, कंगना रनौत और शिवसेना (यूबीटी) सांसद प्रियंका चतुर्वेदी के साथ आईटी समिति में शामिल होंगी। मनोरंजन और राजनीति से जुड़े इन व्यक्तित्वों का इस समिति में योगदान डिजिटल शासन और सोशल मीडिया जैसे मुद्दों पर एक अनूठा दृष्टिकोण ला सकता है।

भाजपा के सहयोगियों को भी अहम भूमिका

भाजपा के राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के सहयोगियों को भी महत्वपूर्ण पद मिले हैं। जनता दल (यूनाइटेड) के डॉ. संजय झा को पर्यटन, परिवहन और संस्कृति समिति का अध्यक्ष नियुक्त किया गया है, जबकि तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के मघुंता श्रीनिवासुलु रेड्डी को आवास और शहरी मामलों की समिति की अध्यक्षता सौंपी गई है। महाराष्ट्र में भाजपा के सहयोगी शिवसेना (एकनाथ शिंदे गुट) और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (अजीत पवार गुट) को ऊर्जा और पेट्रोलियम तथा प्राकृतिक गैस समिति की अध्यक्षता मिली है।

Parliament Standing Committee का पुनर्गठन भारतीय लोकतंत्र का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जो विभिन्न मंत्रालयों की निगरानी और जवाबदेही सुनिश्चित करता है। ये समितियां नीतियों को आकार देने और सरकारी कार्यों की निगरानी में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं।

Arunachal Pradesh की चोटी का नाम दलाई लामा के नाम पर रखा, चीन को लगी मिर्ची

Benjamin Netanyahu ने अमेरिका समर्थित लेबनान संघर्ष विराम योजना को खारिज किया

RELATED LATEST NEWS