जयपुर-अजमेर हाइवे पर शुक्रवार, 20 दिसंबर 2024 को एक भीषण हादसा हुआ, जिसमें एक गैस टैंकर और कई अन्य वाहन आपस में टकरा गए। इस हादसे के कारण कम से कम सात लोगों की मौत हो गई और 35 से अधिक लोग घायल हो गए। दुर्घटना के बाद, 30 से अधिक वाहन आग की लपटों में घिर गए, और इनकी भयावहता का अहसास गवाहों ने भी किया। इस दुर्घटना के बारे में गवाहों ने जो भयावह दृश्य साझा किए, वे दिल दहला देने वाले थे। CCTV फुटेज में भी इस हादसे की विनाशकारी तबाही को साफ़ देखा जा सकता है।
जयपुर गैस टैंकर हादसा: एक भयानक दृश्य
यह हादसा सुबह करीब 5:30 बजे हुआ जब एक CNG टैंकर, जो एक पेट्रोल पंप के पास खड़ा था, एक ट्रक के टकराने से आग की लपटों में घिर गया। इस आग के कारण एक के बाद एक कई विस्फोट हुए और आग ने करीब 30 वाहनों को अपनी चपेट में ले लिया। हादसे की भयावहता का अनुमान इस बात से लगाया जा सकता है कि आग की लपटें और काले धुएं का गुबार करीब एक किलोमीटर दूर से दिखाई दे रहा था।
गवाहों की बयानबाजी: “आग में घिरे आदमी को देखा”
हादसे के गवाहों ने जो कुछ देखा, वह सचमुच दहशत पैदा करने वाला था। एक गवाह ने बताया, “मैं और मेरा दोस्त राजसमंद से जयपुर जा रहे थे, और हमारी बस अचानक सुबह करीब 5:30 बजे रुक गई। तभी हमें एक जबरदस्त धमाका सुनाई दिया। बस के चारों ओर आग फैल गई थी। दरवाजा बंद था, इसलिए हमने खिड़की तोड़ दी और कूद पड़े। हमारे साथ और भी 7-8 लोग खिड़की से बाहर कूदे। उसके बाद लगातार धमाके होते रहे। पास में एक पेट्रोल पंप था।”
दूसरे गवाह ने बताया कि जैसे ही वह हादसे के पास पहुंचे, उन्होंने एक आदमी को आग में घिरा हुआ देखा। “लोग दौड़ रहे थे और मदद की पुकार लगा रहे थे। मैंने एक आदमी को आग में जलते हुए देखा। यह दृश्य बहुत डरावना था। अग्निशमन और एंबुलेंस पहुंची थीं, लेकिन आग की तीव्रता के कारण उन्हें वहां तक पहुंचने में काफी समय लग रहा था।”
CCTV फुटेज से सामने आई तबाही
इस भयावह घटना को कैद करने वाली CCTV फुटेज सामने आई है, जिसमें साफ़ देखा जा सकता है कि जैसे ही टक्कर हुई, आग ने तेजी से फैलना शुरू कर दिया। फुटेज में दिखाया गया कि एक संपत्ति पर आग की लपटें तेजी से फैल रही हैं, जिससे इस दुर्घटना की गंभीरता का अंदाजा लगाया जा सकता है। यह फुटेज घटना के तुरंत बाद की है, जो इस हादसे के विनाशकारी प्रभाव को साफ़ दर्शाता है।
आग बुझाने में दिक्कतें और बचाव कार्य
हादसे के बाद, बचाव कार्य के दौरान दमकलकर्मी और एंबुलेंस कर्मचारियों को भी कड़ी चुनौतियों का सामना करना पड़ा। आग की तीव्रता इतनी अधिक थी कि दमकलकर्मी और आपातकालीन सेवाएं मौके तक पहुंचने में वक्त ले रहे थे। पुलिस और स्थानीय प्रशासन ने त्वरित कार्रवाई करते हुए दुर्घटना स्थल से घायल व्यक्तियों को निकाला और उन्हें अस्पताल भेजा।
मरने वालों की संख्या और घायल
हादसे में अब तक सात लोगों की मौत हो चुकी है, जबकि 35 से अधिक लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं। घायलों में कई लोग गंभीर हालत में हैं, जिनका इलाज अस्पतालों में चल रहा है। पुलिस और प्रशासन ने राहत कार्य शुरू कर दिया है और घायलों को त्वरित चिकित्सा सहायता प्रदान की जा रही है।
पेट्रोल पंप के पास बड़ा खतरा
यह दुर्घटना पेट्रोल पंप के पास हुई, जो कि स्थिति को और भी खतरनाक बना देती है। पेट्रोल पंप के पास होने के कारण आग और धमाकों का असर और भी बढ़ गया। स्थानीय लोगों का कहना है कि इस हादसे में बहुत बड़ी दुर्घटना हो सकती थी, लेकिन राहत की बात यह रही कि पेट्रोल पंप में बड़े पैमाने पर आग नहीं फैली, जिससे और भी कई जानें बच गईं।
जयपुर-अजमेर हाइवे पर हादसे के कारण
यह हादसा उस वक्त हुआ जब एक ट्रक ने कई वाहनों को टक्कर मार दी, जिसके बाद एक गैस टैंकर और ट्रक के बीच टक्कर हो गई। CNG टैंकर की टक्कर के बाद आग की लपटें फैलने लगीं और इससे जुड़े वाहन जल्दी ही आग की चपेट में आ गए। इस हादसे के कारण हाइवे का एक बड़ा हिस्सा ब्लॉक हो गया, जिससे यातायात पूरी तरह से प्रभावित हो गया।
अग्निशमन और सुरक्षा उपायों की आवश्यकता
इस प्रकार के हादसों से सबक लेते हुए, अब आवश्यकता इस बात की है कि अग्निशमन और सुरक्षा उपायों को और भी सख्त किया जाए। खासकर पेट्रोल पंप और ऐसे स्थानों पर जहां गैस या अन्य ज्वलनशील पदार्थ होते हैं, वहां सुरक्षा प्रोटोकॉल को कड़ा किया जाए। जयपुर-अजमेर हाइवे पर इस हादसे ने यह साफ कर दिया कि सड़क सुरक्षा और आपातकालीन सेवाओं की तैयारी में और सुधार की आवश्यकता है।
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